गाजीपुर। प्रदेश सरकार एवं जिलाधिकारी गाजीपुर के सख्त निर्देश के बावजूद अभी भी नन्दगंज बाजार एवं ग्रामीण क्षेत्र के किसानों को छुट्टा आवारा पशुओं से निजात नहीं मिल रही है। अब भी बाजार तथा गांवों में घुमते दर्जनों आवारा पशु राहगीरों व किसानों के लिये सिरदर्द बने हुए हैं। किसान अपने खेतों में बोई गयी फसलों को छुट्टा आवारा पशुओं द्वारा की जा रही बरबादी से बचाने के लिए दिन रात खेतों की रखवाली कर रहे हैं। इस सीजन में सरसों, चना, गेहूं तथा सब्जी वाली फसलों को इन छुट्टा पशुओं से बचाने के लिए किसानों के सामने बड़ी समस्या खड़ी हो गई हैं। छुट्टा पशु किसानों के खेतों में बोई गई दलहनी, तिलहनी सहित अन्य फसलों के पौधों को कुछ खाकर एवं ज्यादा कुचल कर काफी नुकसान पहुंचा रहे हैं। फसल को सोने में लगी महंगी लागत और परिश्रम को नष्ट होते देख किसानों के माथे पर बल पड़ने लगा हैं। अब तो झुण्ड के झुण्ड आवारा पशु ग्रामीण क्षेत्रों के साथ साथ पूरे नंदगंज बाजार में घूम रहे हैं। सरकार द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में ब्लाक स्तर पर बनाये गये गोशाला भी बेमानी हो गये हैं।जिलाधिकारी आर्यका अखौरी द्वारा अधिकारियों एवं कर्मचारियों को हाल ही में दिये गये सख्त आदेश के बाद भी आवारा पशुओं को कर्मचारी पकड़ नहीं रहें हैं। इसका प्रमाण शनिवार को दोपहर में स्थानीय बाजार सहित थाना के गेट पर दर्जनों छुट्टा आवारा पशु घुमते रहें । नंदगंज थाना गेट पर पांच मिनट तक खड़े इन आवारा पशुओं के झुण्ड को राहगीर खड़े होकर देखने लगें। इसी प्रकार दर्जनों छुट्टा आवारा पशु किसानों की खेतों में भी घूमते रहते हैं। जिससे खेतों में बोई गयी फसलों की काफी क्षति हो रही है। शासन के साथ साथ जिलाधिकारी आर्यका अखौरी द्वारा दिये गये सख्त निर्देश के बाद भी निर्धारित विभाग के अधिकारी व कर्मचारी इस छुट्टा पशुओं को पकड़ने में कोई रुचि नहीं ले रहें है। इसलिये बाजार तथा क्षेत्र में आवारा पशुओं की संख्या दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। नगर निवासी तथा किसानों ने एक बार पुनः जिला प्रशासन खासकर जिलाधिकारी का ध्यान आकृष्ट कराते हुए इन छुट्टा आवारा पशुओं को पकड़वा कर निर्धारित गोशाला में भेजने की मांग की है।