मऊ। दीपावली, भैयादूज, छठ पूजा, गोवबर्धन पूजा व सहालग (शादी-ब्याह लगन) को देखते हुए सभी प्रकार के ट्रेड की वाणिज्यिक गतिविधियों 05 गुना 10 गुना अधिक बढ़ जाने के बावजूद उस हिसाब से राज्य कर टैक्स नहीं दिया जाता है। जिसका कारण बिना टैक्स इनवायस / बिल के खरीद और बिना टैक्स इनवायस/बिल जारी किये बिकी किया जाना है। यह भी पाया जाता है कि माल का परिवहन टैक्स इनवायस/बिल से तो किया जाता है किन्तु ईवे-बिल न जारी किये जाने अथवा ईवे बिल निरस्त कर दिये जाने इत्यादि हथकण्डे अपनाकर लेखों के बाहर खरीद, निर्माण व बिकी की जाती है। ऐसे लोगों पर राज्य कर वाणिज्य कर विभाग की पैनी नजर रहेगी। जो गलती करते हुए पाए जाने पर कड़े दंड के भागी बनेंगे। उपरोक्त बातें राज्य कर विभाग व व्यापारियों संग बैठक में अधिकारियों ने व्यापारियों को संबोधित करते हुए कहा। मंगलवार को राज्यकर कार्यालय में आयोजित बैठक को संबोधित करते हुए राज्यकर उपयुक्तद्वय विकाश सागर व रमेश कुमार यादव ने कहाकि त्यौहारों के महीनों व सहालग (शादी-ब्याह / लगन) के अवसर पर दो पहिया चार पहिया वाहन, इलेक्टिकल व इलेक्ट्रिानिक सामानों, किराना/डाइफूड्स, मेवा, मिठाई, नमकीन, चाकलेट, टैक्सटाइल, रेडिमेड-गारण्मेट, बर्तन, क्रॉकरी, पटाखा, सोना-चाँदी व अन्य अर्नामेण्ट आर्टीफीशियल ज्वेलरी व इस प्रकार के अनेकों ट्रेड में बिना बिल के खरीद / बिना बिल जारी किये बिकी के आधार पर करापवंचित व्यापार किया जाता है। दीपावली के अवसर पर विभिन्न बैंको, डाकघरों में सोना-चाँदी के सिक्कों बुलियन की बिकी, सोना-चाँदी के परचेज के सम्बन्ध में टैक्स इनवायस जारी कर ओल्ड बुलियन व ओल्ड ज्वेलरी की खरीद व सोना-चोंदी इत्यादि गहनों की बिकी के साथ ही स्टोरेज व वेयर हाउस में मेवा का भण्डारण किया जाता है। उक्त सभी ट्रेड के व्यापारियों को बिल जारी करके ही बिकी किये जाने के लिये विभिन्न प्रकार की मीटिंग करके संबंधित निर्माताओं, ट्रेडर्स, विद्वान अधिवक्ताओं, सी०ए० व सभी संबंधित से आग्रह / आगाह किया जा रहा है। सभी एजेन्सी पर कड़ी निगरानी रखने के निर्देश के साथ-साथ उनसे भी आग्रह /आगाह किया जा रहा है कि ऐसी किसी भी व्यापारिक गतिविधियों से बचें जिसमें टैक्स चोरी निहित हो। समस्त माध्यमों की बिकी को प्रदर्शित किया जायें। उक्त बैठक में विभाग की ओर से विकास सागर, उपायुक्त राज्य कर, रमेश कुमार यादव उपायुक्त राज्य कर, नितिन श्रीवास्तव सहायक आयुक्त राज्य कर, भरत लाल सहायक आयुक्त राज्य कर, संजीव कुमार सहायक आयुक्त राज्य कर व व्यापारियों / ट्रेडर्स की ओर से व्यापारिक प्रतिनिधि सम्मिलित हुए। बैठक बहुत ही सौहार्दपूर्ण एवं सकारामत्मक रही। अंत में सधन्यवाद बैठक समाप्त की गयी।