गाजीपुर। पूर्वांचल कोआपरेटिव बैंक के पूर्व संस्थापक चेयरमैन रामबाबू शांडिल्य के गिरफ्तारी से बैंक के गरीब बचत खाता धारक, फर्जी रुप से ऋण में फंसाये गये लोगों में काफी खुशी है। अचानक पूर्वांचल कोआपरेटिव बैंक बंद होने से हजारों गरीबों के करोड़ों रुपये फंस गये। रिजर्व बैंक ने कुछ लोगों को पहली किस्त में धनराशि अदा किया है लेकिन अभी भी काफी लोगों का बैंक में पैसा फंसा हुआ है जो अपनी गाढ़ी कमाई के तिनका-तिनका जोड़ कर बैंक में अपने सुख-दुख के लिए जमा किये थे। लेकिन अचानक बैंक बंद हो जाने से कई लोगों की बेटियों की शादी रुक गयी और फर्जी तरीके से लोन में फंसाये गये लोग भी आज काफी राहत की सांस ले रहे हैं। लोगों ने बताया कि भगवान के घर में देर है लेकिन अंधेर नहीं। जो जैसा करेगा वैसा पायेगा। ज्ञातव्य है कि जिले में शुक्रवार को बिहार नंबर की गाड़ी से ईडी की टीम पहुंची। लंका स्थित पूर्वांचल को आपरेटिव बैंक में दिनभर गोपनीय जांच के बाद बैंक के पूर्व संस्थापक चेयरमैन रामबाबू शांडिल्य को गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तारी की पुष्टि एसपी डा. ईरज राजा ने की है। उन्होंने बताया कि यह गिरफ्तारी मनी लाउंड्री मामले हुई है। इसके पहले 14 जून को भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) को पूर्वांचल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड के लाइसेंस को निरस्त कर दिया है। जबकि उसके पहले 2023 में आरबीआई की जांच रिपोर्ट पर पूर्वांचल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड के पूर्व प्रवर्तक राम बाबू शांडिल्य, पूर्व सीईओ विवेक पांडेय, प्रबंध कमेटी, लेखा परीक्षक मेसर्स विजय के. शर्मा एंड कंपनी, बैंक प्रोप्राइटर और संबंधित पार्टी व फर्म के खिलाफ शहर कोतवाली में 30 अगस्त 2023 में मुकदमा दर्ज कराया गया था। इस पूरे प्रकरण की जांच को ऑपरेटिव सेल वाराणसी कर रही हैं।